टिटिलागढ़ साध्वी प्रबलयशाजी के सानिध्य में अनेक कार्यक्रम
1 min read चार अगस्त को होगा कार्यक्रम , सहिष्णुता के संग भरे जीवन में उमंग
टिटिलागढ़। टिटिलागढ़ स्थानीय केरापंथ भवन में चातुर्मास के लिए साध्वी प्रबलयशाजी के साथ साध्वी सौरभयशाजी एवं साध्ववी युयशप्रभाजी विराजमान हैं। जैन तेरापंंथ धर्म के मुख्य आचार्य महाश्रमणजी ने चातुर्मास के लिए निर्देश प्रदान किया है। जैन धर्म के अनुयायी जप एवं तप से आठ-आठ दिनों का उपवास रख रहे हैं। इसी कड़ी में जैन समाज के मुख्य सलाहकार प्रेम चंद जैन के ज्येष्ठ पुत्र देवेन्द्र जैन एवं नागर के प्रतिष्ठित परिवार रणजीत सिंह तिलकचंद जैन के सुशील कुमार जैन की धर्मपत्नी सविवता जैन ने तीनों साध्वी के प्रेरणा एवं भगवान महावीर के द्वारा शरीर की शुद्धि एं निरोगी काया के लिए आठाई आठ दिन का उपवास रखा।
दोनों के अठाई उपवास पर जैन भवन में साध्वी प्रबलयशाजी एवं दोनों साध्वीयों ने आशीर्वाद प्रदानकर मंगल भविष्य की कामना की। इसी कड़ी में तेरापंंथ सभा के नगर अध्यक्ष अमर सिंह जैन एक अभिनंदन कार्यक्रम में अठाई तप के लिए साधक देवेन्द्र जैन एवं श्रीनती सविता जैन को अणुवर्त पुस्तक भेंट कर अभिनंदन किया। चातुर्मास के अवसर पर 4 अगस्त को एख वृहद कार्यक्रम जोड़ों के साथ रखा गया है। जिससे साध्वी द्वारा सहिष्णता के संग भरे जीवन में उमंग पर चर्चा होगी। जैन सभा के अध्यक्ष अमर सिंह जैन ने बताया कि सुबह सैकड़ों परिवार विभिन्न स्थानों जैसे कांटाबांजी सिंधिकेला, बंंगोमुंडा तुसरा, केसिंगा एवं भवानीपटना से पधारकर सम्मेलन में अपनी उपस्थिति दर्ज करेंगे। सभी श्रद्धालु दिनभर जैन भवन में उपस्थित रहकर साध्वीश्री का आशीर्वाद प्राप्त करेंगे। समाज बंभुओं के लिए सोंचोंं और शब्द बनाओं प्रतियोगिता आयोजित होगा। दोपहर को एक बजे सहिष्णुता की अनुप्रेक्षा, सामान्य तत्वज्ञान की जानकारी प्रदानकी जाएगी। प्रेक्षा एक मिनट पर कार्यक्रम आयोजित किया जाएगा। अनुभवों की प्रस्तुती श्रद्धालुओं द्वारा प्रदान किया जाएगा। उपरोक्त एक दिवसीय कार्यक्रमों को सफल बनाने में तेरापंंथ सभा के नगर अध्यक्ष अमर सिंह जैन, उपाध्य पद्मसेन जैन, सचिव मनोज जैन, कोषाध्यक्ष नवीन जैन, जैन समाज के डॉ। घनस्याम जैन, आनंद जैन (सीए), जैन युवा परिषद के अध्यक्ष गौतम जैन के साथ तेरापंंथ महिला परिषद, तेरापंथ बालिका परिषद एवं नगर के सभी जैन बंंधु सहयोगकर रहे हैं। पड़ोसी नागरोोंं एवं जिला से पधारे श्रद्धालुओं को कोई असुविदा न हो उप पर विश्ेष ध्यान दिया जा रहा है।