मनरेगा योजना के तहत पौधारोपण के नाम पर गरियाबंद जिले के मैनपुर विकासखण्ड में करोड़ों का गड़बड़ झाला
1 min read- खास खबर – 1 करोंड 20 लाख रूपये के लागत से 20 हजार पौधों का करना था रोपण, नर्सरी में 100 पौधे भी जीवित नहीं
- अफसरों और ग्राम पंचायत के सरपंच सचिव द्वारा शासकीय राशि का मिलकर किया गया जमकर बंदरबांट
- रामकृष्ण ध्रुव, मैनपुर
मैनपुर – सरकार द्वारा ग्रामीण क्षेत्रो के विकास के लिए करोडों रूपये की बजट जारी किया जाता है और इन शासकीय राशियों का कैसा संबधित विभाग के अफसर तथा सरपंच सचिव द्वारा मिलकर बंदरबांट किया जा रहा है, जिसकी बानगी गरियाबंद जिले के जनपद पंचायत मैनपुर अंतर्गत ग्राम पंचायत बिरीघाट में देखी जा सकती है, जंहा शासन के काफी महत्वपूर्ण योजना महात्मा गांधी रोजगार गारंटी के तहत करोडों रूपये राशि का पौधरोपण के नाम पर शासन के सारे नियमों को ताक पर रखकर सिर्फ कागजी खानापूर्ति कर करोंडो रूपये की राशि का आहरण किया गया है। मामले की शिकायत क्षेत्र के भाजपा विधायक तथा कांग्रेस के नेताआें व जनप्रतिनिधियों के द्वारा करने के बावजूद अब तक करोडों रूपये के शासकीय राशि को हजम करने वालों पर कोई कार्यवाही न हो पाना अनेक संदेह को जन्म देता है, जिससे क्षेत्र के लोगो में भारी आक्रोश दिखाई दे रहा है। और इस मामले को लेकर तथा दोषियों पर कड़ी कार्यवाही की मांग को लेकर भाजपा व युवा कांग्रेस द्वारा उग्र आंदोलन करने की चेतावनी भी दिया गया है।
जनपद पंचायत मैनपुर अंतर्गत ग्राम पंचायत बिरीघाट में मनरेगा योजना के तहत पौधा रोपण करने वर्ष 2018-19 में एक करोंड 20 लाख रूपये की भारी भरकम राशि स्वीकृत किया गया। इसका कार्य एजेंसी ग्राम पंचायत बिरीघाट था यहा सबसे बडी सोचने वाली बात यह है कि ग्राम पंचायत को 20 लाख रूपये से ज्यादा के कार्य नही किया जा सकता इसलिए सबंधित विभाग के अफसराें और ग्राम पंचायत के सचिव तथा सरपंच ने भ्रष्ट्राचार को अंजाम देने एक नया तरीक ढूढ निकाला और बकायदा एक ही निर्माण कार्य के लिए जिसकी लागत एक करोंड 20 लाख है। उस कार्य को सात अलग अलग भागो कागजो में अंजाम दे दिया गया।
ग्राम पंचायत बिरीघाट में लगभग 45 हेक्टेयर जमीन को चारो तरफ से कटीले तारों से सीमेंट के छोटे छोटे स्तरहीन पोल से घेराव किया गया और 20 हजार पौधों का कागजो में पौधा रोपण कर दिया, आज की स्थिति में मौके पर 100 पौधे भी जीवित नहीं है। चारों तरफ खरपतवार और रेगिस्तान की तरह नजर आ रहा है। बकायदा इस योजना में सिंचाई का भी प्रावधान था लेकिन चार सौर सुजला योजना के तहत यहा बोर खनन कर सौर उर्जा सिस्मट प्लेट लगाया गया है लेकिन आज तक यह प्रारंभ नही हो पाया। और तो और इस सौर उर्जा प्लेट में भी भारी गडबडझाला किया गया, बताया जाता है कि नर्सरी में लगाये गये सौर उर्जा प्लेट गांव के किसी किसान के नाम पर है। उक्त किसान के द्वारा इसकी शिकायत ग्राम पंचायत में करते हुए अपना सौर उर्जा प्लेट को उखाड़कर ले जाने की बात कही गई है।
कार्यस्थल पर नहीं है सूचना बोर्ड
जनपद पंचायत मैनपुर से मिली जानकारी के अनुसार वर्ष 2018-19 मे इस पौधा रोपण के लिए एक करोंड 20 लाख रूपये स्वीकृत हुआ था, लेकिन कोई भी निर्माण कार्य से पहले निर्माण स्थल पर सूचना बोर्ड लगाना अनिवार्य है, लेकिन इस करोड़ों के पौधा रोपण स्थल पर कोई भी सूचना बोर्ड नहीं है, जो यह बता सके कि किस योजना के तहत यह निर्माण कार्य किया गया है।
- खास बातें
1 गरियाबंद जिला में मनरेगा योजना के तहत पौधारोपण के नाम पर बिरीघाट ग्राम पंचायत में अब तक के सबसे बडा भ्रष्ट्राचार।
2 मामला वर्ष 2018-19 का, 45 हेक्टेयर जमीन में पौधा रोपण,20 हजार पौधों का होना था रोपण, वर्तमान मे मौके पर 100 पौधे भी नही है जीवत
3.सरकार के महत्वपूर्ण मनरेगा योजना पर सबंधित विभाग के अफसराें व ग्राम पंचायत के सचिव व सरपंच ने मिलीभगत कर लगाया जमकर पतीला, निर्माण स्थल पर कोई सूचना बोर्ड नही।
- मामले की शिकायत ग्राम पंचायत के ग्रामीणों द्वारा जनपद पंचायत , जिला पंचायत और कलेक्ट्रोंट में किया जा चुका है, पर अब तक नही हुई कार्यवाही, जनपद व जिला पंचायत के बैठक में कई बार मामले को लेकर हो चुका है हंगामा।
- पौधारोपण नर्सरी के नाम पर खाद व अन्य सामग्री क्रय में फर्जी बिल वाउचर लगाने की ग्रामीणाें ने लगाया शिकायत।
6 ग्राम पंचायत के तत्कालीन सचिव सलाम खान को तत्काल बर्खास्त करने की मांग, तत्कालीन सचिव अपने आप को बचाने चार माह पूर्व दुसरे पंचायत में करवा चुका है अपना स्थानांतरण।
7 क्षेत्र की जनता को मामले में कार्यवाही का इंतजार
विधायक डमरूधर पुजारी ने कहा मामले की शिकायत मैैं स्वयं किया हॅू अब तक नहीं हुई कार्यवाही
बिन्द्रानवागढ़ विधानसभा क्षेत्र के भाजपा विधायक डमरूधर पुजारी ने कहा कि ग्राम पंचायत बिरीघाट में पौधारोपण के नाम पर करोड़ों रूपये का भ्रष्ट्राचार किया गया है, जिसकी शिकायत उन्होंने स्वंय गरियाबंद जिला के तत्कालीन कलेक्टर श्याम धावडे को लिखित में किया था , जिसके बाद जांच कमेटी का गठन कर जिला स्तरीय जांच कमेटी द्वारा जांच के लिए टीम भेजा गया, लेकिन आत तक जांच रिर्पोट क्षेत्र की जनता को पता नही चला, विधायक श्री पुजारी ने कहा कि इस पौधारोपण के नाम पर भ्रष्ट्राचार करने वाले संबधित अधिकारियाें और पंचायत सचिव के खिलाफ कडी कार्यवाही किया जाना चाहिए।
कांग्रेस नेता जनक ध्रुव ने मामले की शिकायत प्रभारी मंत्री व वनमंत्री से करने की बात कही
आदिवासी कांग्रेस के प्रदेश महामंत्री जनक ध्रुव ने कहा कि सरकार के महत्वपूर्ण योजना पर इस तरह के भ्रष्ट्राचार किसी भी सूरत मेें स्वीकार नहीं है। सरकार द्वारा गांव के विकास के लिए अनेक योजनाआंे के तहत लाखों करोड़ो रूपये राशि जारी किया जा रहा है, लेकिन कुछ सबंधित अधिकारी और पंचायत सचिव मिलकर सरकार के योजनाआें पर पतीला लगा रहे हैं। इनके खिलाफ कडी कार्यवाही किया जाए श्री ध्रुव ने कहा कि इस मामले को लेकर गरियाबंद जिला के प्रभारी मंत्री ताम्रध्वज साहू और वनमंत्री मोहम्मद अकबर से मुलाकात मामले की शिकायत करेंगे।