विश्व आदिवासी सम्मेलन गरियाबंद में शामिल होने दिल्ली से पहुंचे प्रोफेसर डॉक्टर लक्ष्मण यादव
1 min read- शेख हसन खान, गरियाबंद
- जय सेवा, जय जोहार से गूंजा गरियाबंद, धूमधाम से मनाया गया विश्व आदिवासी दिवस, हजारों की संख्या में उमड़ी भीड़
गरियाबंद। विश्व आदिवासी दिवस के विशेष मौके पर जिले भर से आये आदिवासी समुदाय द्वारा हज़ारो की संख्या में विशाल जुलूस निकालकर अपनी परम्परा और संस्कृति का बखान किया है। आदिवासियों के मूलभूत अधिकारों की सामाजिक, आर्थिक और न्यायिक सुरक्षा के लिए हर साल 9 अगस्त को विश्व आदिवासी दिवस को मनाया जाता है। गरियाबंद जिला मुख्यालय में विश्व आदिवासी दिवस धूमधाम से मनाया गया। अखिल भारतीय आदिवासी विकास परिषद एवं समस्त आदिवासी समाज की ओर से गरियाबंद के इंदौर स्टेडियम में मंचीय कार्यक्रम आयोजित किया गया। जिसके बाद एक विशाल रैली निकाली गई। नगर सहित जिला भर से ग्रामीण क्षेत्रों के आदिवासी समाज के लोग शामिल हुए और दोपहर में सब पहले आदिवासी विकास परिषद मजरकट्टा में इकट्टा हुए।यहां से विशाल रैली के रूप में नगर के विभिन्न चौक चौराहे बाजार होते हुए निकले। वही रैली रावणभाटा के वीरनारायण शाहिद चौक होते हुए आदिवासी विकास परिषद के परिसर जाकर समाप्त हुई।परिसर से शुरू हुई रैली में कारवां बढ़ता गया और हजारों की संख्या आदिवासी भाई बंधु रैली में शामिल रहे।
*जिला स्तरीय विश्व आदिवासी दिवस कार्यक्रम में शामिल होने के लिए प्रोफेसर दिल्ली यूनिवर्सिटी सामाजिक एवं सावैधानिक वक्त डॉक्टर लक्ष्मण यादव भी पहुंचे थे इस दौरान उमेन्दी कोमर्रा, महिला प्रकोष्ठ के प्रदेश अध्यक्ष श्रीमती लोकेश्वरी नेताम, महासचिव नरेंद्र ध्रुव, पूर्व संसदीय सचिव गोवर्धन मांझी जिला पंचायत गरियाबंद के अध्यक्ष श्रीमती स्मृति ठाकुर लोकेंद्र कोमर्रा, महेंद्र नेताम एवं जिले भर से बड़ी संख्या में आदिवासी समाज के लोग शामिल हुए।
रैली में एक रथ पर टंट्या भील, भीम नायक व सेवा जोहार के ध्वज लहराते हुए युवको का उत्साह देखते ही बनता था। पूरा मुख्य मार्ग कार्यकर्ताओं से भर गया। रैली में देशभक्ति का रंग भी खूब जमाते सतरंगी झंडा लहराते युवा युवतीया निकल रहे थे। रैली में गरियाबंद ज़िले से बड़ी संख्या में आदिवासी बंधु शामिल हुए,हाथों में अपनी संस्कृति से जुड़े तीर कमान धारण कर युवा, महिलाएं, पुरुष व बच्चे डीजे की धुन पर अधिकतर थिरकते हुए चल रहे थे। अपनी परंपरागत पोशाक कई लोग पहने हुए थे। महापुरुषों की जय के नारे भी लगाए जा रहे थे।
आदिवासी महिला प्रकोष्ठ के प्रदेश अध्यक्ष एवं ज़िलापंचायत सदस्य लोकेश्वरी नेताम ने बताया कि विश्व आदिवासी दिवस पर आयोजित कार्यक्रम का मुख्य उद्देश्य आदिवासी समाज के मानवीय अधिकारों का सरंक्षण, उसके जल, जंगल, जमीन के अधिकार संरक्षित करने, अस्मिता आत्मसम्मान कला, संस्कृति के अस्तित्व को कायम रखने एवं शिक्षा का प्रचार-प्रसार व आदिवासी समाज में जन जागृति हैं। साथ ही समाज में व्याप्त बुराइयों जैसे शराब का सेवन, शिक्षा का निम्न स्तर , स्वास्थ्य के प्रति जागरूकता का अभाव, उन्नत व्यापार का अभाव, उन्नत कृषि का अभाव को मिटाने के लिए आदिवासी समाज को जागरूक करना एवं शिक्षा का व्यापक प्रचार प्रसार करना। सहित अन्य आदिवासी समुदाय के लोग मौजूद थे।
- गरियाबंद थाना प्रभारी ओमप्रकाश यादव ने संभाली थी सुरक्षा की कमान
इधर शांति व्यवस्था बनाए रखने पुलिस की भी माकूल व्यवस्था थी। थाना ओमप्रकाश यादव बल पूरी तरह मुस्तैद थे। शहर के चप्पे चप्पे पर पुलिस की टीम नज़र आई और रैली के साथ लगातार थाना प्रभारी ओमप्रकाश यादव नज़र आए।