स्कूल भवन जर्जर होने के कारण तोड़ दिया गया, अब ग्राम पंचायत तौरेंगा बच्चों को पढ़ाई करने में आ रही भारी परेशानी
1 min read- शेख हसन खान, गरियाबंद
- आदिवासी आश्रम में भी कमरों की कमी, एक पलंग में दो -दो छात्र सोने को मजबूर
- ग्राम पंचायत तौरेंगा बिजली, पेयजल, स्वास्थ्य, शिक्षा जैसे बुनियादी सुविधाओं के लिए तरस रहा है
गरियाबंद। शासकीय प्राथमिक एवं मिडिल स्कूल भवन जर्जर होने के कारण बच्चों के सुरक्षा को देखते हुए भवन को 2 वर्ष पहले तोड़ दिया गया अब स्कूल के बच्चों को पढ़ाई करने में भारी परेशानियों का सामना करना पड़ रहा है मामला मैनपुर देवभोग नेशनल हाईवे 130 सी मुख्य मार्ग मैनपुर से 22 कि.मी. दूर ग्राम पंचायत तौरेंगा का है यहां आदिवासी बालक आश्रम संचालित किया जा रहा है। 100 सीटर इस बालक आश्रम में 105 बच्चे निवास करते हुए पढ़ाई कर रहे है यहां आश्रम भवन में भी कमरो की कमी के चलते एक पलंग में दो बच्चे सोने को मजबूर हो रहे हैं। पेयजल की गंभीर समस्या है। आश्रम परिसर का बोर कनेक्शन खराब हो गया है जिसकी सुधार की मांग लम्बे समय से किया जा रहा है। लेकिन अब तक सुधार नही होने के कारण 105 बच्चों को सुबह नाहने और दैनिक कार्य करने में भारी परेशानी हो रही है। ग्राम पंचायत तौरंेगा नेशनल हाईवे के किनारे बसा हुआ है बावजूद इसके यह ग्राम आज भी मूलभूत समस्याओं से जूझ रहा है तौरेंगा में पेयजल सप्लाई के लिए सड़क किनारे पानी टंकी क्रेडा विभाग द्वारा लगाया गया है जो पिछले 2 माह से बंद है कई बार सुधार करने की मांग किया जा चूका है लेकिन ग्रामीणों के इस गंभीर समस्या की ओर क्रेड़ा विभाग द्वारा ध्यान नहीं दिया जा रहा है। लाखों रूपये खर्च कर पानी की टंकी लगाई गई है जो पूरी तरह फ्लाप साबित हुआ है।
- गांव के उपर से गुजरा है हाई टेंशन बिजली की तार लेकिन गांव में नहीं लगी है लाईट
ग्राम पंचायत तौरेंगा के गांव के उपर से देवभोग की तरफ बिजली की हाई टेशन तार गुजरी है लेकिन इस गांव में अब तक बिजली नहीं लगी है। गांव में सौर उर्जा लगाया गया है लेकिन वह महज एक दो घंटा ही जल पाता है उसके बाद पूरी रात अंधेरे में ग्रामीणों को गुजारना पड़ता है। कई बार बिजली लगाने की मांग ग्रामीणों के द्वारा किया जा चूका है लेकिन इस ओर अब तक ध्यान नहीं दिया गया जिसके चलते ग्रामीणों में आक्रोश देखने को मिल रहा है।
- उपस्वस्थ्य केन्द्र में लगा है ताला, ग्रामीणों द्वारा कई बार मांग पत्र सौंपा जा चुका है
ग्राम तौरेगा के ग्रामीणों ने बताया तौरेंगा में उपस्वास्थ्य केन्द्र का निर्माण वर्षो पहले किया गया है यहां पदस्थ स्वास्थ्य कार्यकर्ता के नही रहने के कारण ताला बंद हो गया है। कई बार ग्रामीण जन समस्या निवारण शिविर से लेकर जिला स्तर तक आवेदन देकर थक चूके हैं जिसके कारण छोटे-छोटे बिमारी के इलाज के लिए ग्रामीणांे को भटकना पड़़ रहा है ऐसे भी इन दिनों ग्रामीण क्षेत्रों में सर्दी, खासी, बुखार, उल्टी-दस्त की मरीजों की संख्या बढ़ गई है। ग्रामीणो ने तत्काल उपस्वाथ्य केन्द्र में स्वस्थ्य कार्यकर्ता की नियुक्ति की मांग की है।
- वन विभाग का भवन वर्षों से अधुरा
ग्राम पंचायत तौरेंगा बहुत पुरानी गांव है इस गांव में अंग्रेज जमाने के सराय भी था और तो और यहां वन विभाग के द्वारा निर्माण किए गये विश्रामगृह प्रदेश व देश में प्रसिद्ध है क्योंकि सभी राजनीतिक दल के नेता व बड़े अफसर यहां के विश्रामगृह में रूक चुके है लेकिन आज तक ग्राम तौरेंगा की समस्या का समाधान नहीं हुआ है। ग्राम तौरेंगा में वन विभाग के द्वारा निर्माण किये जा रहे दो भवन वर्षो से अधुरा है। यहां वनविभाग का नर्सरी भी है लेकिन वह अब उजड़़ चुका है। वनविभाग द्वारा ध्यान नहीं दिया जाता जबकि यहां सुगंधित फूलो से तेल बनाने के लिए मशीन भी लगाया गया है वह मशीन अब जंग खा रहा है।
- ग्रामीणों ने गरियाबंद कलेक्टर से लगाई फरियाद
ग्राम पंचायत तौरेंगा के सरपंच परमेश्वर नेताम उपसरपंच अनुप कश्यप, चन्द्रकाल, बुधराम,युमेन्द्र कश्यप,चमरूराम,पुनीतराम एवं ग्रामीणों ने गरियाबंद जिला के कलेक्टर दीपक अग्रवाल से मांग किया है कि ग्राम पंचायत तौरेंगा स्थित आश्रमशाला में स्कूल भवन का निर्माण करवाया जाय साथ ही लम्बे समय से बंद पानी टंकी की सुधार के साथ ही स्वास्थ्य केन्द्र में स्वास्थ्य कार्यकर्ता की नियुक्ति किया जाये।